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निजी निवेश

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उत्तर: (A)

विश्व मधुमक्खी दिवस पर मधुमक्खी पालन के बारे में जागरूकता फैलाने का लिया गया संकल्प

हिन्दी वार्ता

नीचे दिये गए विकल्पों में से इस प्रश्न का सही उत्तर चुनिये:

(A). विदेशी प्रत्यक्ष निवेश

(B). स्वायत्तपूर्ण निवेश

(D). विदेशी संस्थागत निवेश

हिन्दी सामान्य ज्ञान के प्रश्न उत्तर का अभ्यास विद्यार्थियों के लिए सभी प्रतियोगी परीक्षाओं को उत्तीर्ण करने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। अक्सर विद्यार्थी अन्य विषयों की तैयारी तो अच्छी तरह से कर लेते हैं किन्तु सामान्य ज्ञान की जानकारी निजी निवेश कमजोर होने के कारण परीक्षा में असफल हो जाते हैं। अर्थशास्त्र निजी निवेश सामान्य ज्ञान प्रश्न उत्तर क्विज के हजारों प्रश्न हमने यहाँ संकलित किए हैं।

भारत में अवसंरचना का वर्तमान परिदृश्य

  • ‘इंफ्रा-डेफिसिट इंडिया’: भारत विश्व में दूसरा सबसे बड़ा (ब्राजील के बाद) अवसंरचनागत घाटा रखने वाला देश है क्योंकि इसने 1990 के दशक की शुरुआत से ही 6% से अधिक की तीव्र गति से विकास किया है लेकिन आपूर्ति निजी निवेश में अनुरूप वृद्धि नहीं हुई है।
    • विश्व बैंक की ‘भारत की शहरी अवसंरचना आवश्यकताओं का वित्तपोषण’ (Financing India’s Urban Infrastructure Needs) शीर्षक रिपोर्ट के अनुसार, वर्ष 2036 तक 600 मिलियन लोग भारत के शहरी क्षेत्रों में रह रहे होंगे, जो जनसंख्या के 40% भाग का प्रतिनिधित्व करेंगे।
      • इससे भारतीय शहरों की पहले से ही तनी हुई शहरी अवसंरचना और सेवाओं पर अतिरिक्त दबाव पड़ने की संभावना है।
      • अवसंरचना क्षेत्र भारत के आर्थिक विकास के लिये एक उत्प्रेरक के रूप में कार्य करता है क्योंकि यह टाउनशिप, हाउसिंग, बिल्ट-अप इंफ्रास्ट्रक्चर और निर्माण विकास परियोजनाओं जैसे संबद्ध क्षेत्रों के विकास को संचालित करता है।
      • वैश्विक निवेशकों ने आधारभूत संरचना परियोजनाओं के लिये भारत को अपने शीर्ष गंतव्य स्थलों में से एक के रूप में देखना शुरू कर दिया है। भारत अपने युवा उभार, मध्यम वर्ग के उदय और विशाल घरेलू बाज़ार के दम पर अवसंरचनात्मक परियोजनाओं पर उच्च प्रतिफल या रिटर्न दर की की पेशकश करता है।

      अवसंरचना क्षेत्र को सशक्त करने के लिये क्या उपाय किये जा सकते हैं?

      • नीति/नियामक ढाँचे में निरंतरता सुनिश्चित करना: निविदा प्रक्रिया में एक बेहतर नियामक वातावरण और निरंतरता की आवश्यकता है। विभिन्न सरकारी विभागों में निरंतरता और नीतिगत सामंजस्य की कमी को प्राथमिकता से संबोधित किया जाना चाहिये।
        • तनावग्रस्त परिसंपत्तियों की समस्या से निपटने के लिये निजी निवेश सरकार और RBI के मध्य एक समग्र दृष्टिकोण होना चाहिये। गैर-निष्पादित संपत्तियों, PSUs के पुनरुद्धार के लिये सभी क्षेत्रों में एक समर्पित निजी निवेश नीति का निर्माण करने की आवश्यकता है।
        • उपयोगकर्त्ता शुल्क महत्त्वपूर्ण हैं क्योंकि देश भर के कई क्षेत्रों में आंशिक रूप से शून्य या बहुत कम उपयोगकर्त्ता शुल्क के कारण कीमती संसाधनों (जैसे भूजल) का अत्यधिक उपयोग एवं अपव्यय होता है।
        • उचित उपयोगकर्त्ता मूल्यों से प्रेरित पर्यावरणीय संवहनीयता एवं संसाधन उपयोग दक्षता के अलावा इस नीति प्राथमिकता में निजी निवेश अपार संसाधन सृजन क्षमता भी है।

        यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न (PYQ)

        Q 1. 'राष्ट्रीय निवेश और बुनियादी अवसंरचना कोष' के संदर्भ में, निम्नलिखित में से कौन सा/से कथन सही है/हैं? (वर्ष 2017)

        1. यह नीति आयोग का एक अंग है।
        2. वर्तमान निजी निवेश में इसके पास `4,00,000 करोड़ का कोष है।

        नीचे दिये गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिये:

        (A) केवल 1 निजी निवेश
        (B) केवल 2
        (C) 1 और 2 दोनों
        (D) न तो 1 और न ही 2

        उत्तर: (D)

        Q 2. भारत में "सार्वजनिक रूप से महत्त्वपूर्ण बुनियादी अवसंरचना" शब्द का प्रयोग किसके संदर्भ में किया जाता है (वर्ष 2020)

        (A) डिजिटल सुरक्षा बुनियादी अवसंरचना
        (B) खाद्य सुरक्षा बुनियादी अवसंरचना
        (C) स्वास्थ्य देखभाल और शिक्षा हेतु बुनियादी अवसंरचना
        (D) दूरसंचार और परिवहन बुनियादी अवसंरचना

        Budget 2023-24: प्री-बजट बैठक में उद्योग जगत ने सरकार से कहा- बजट में रोजगार बढ़ाने पर ध्यान देने की जरूरत

        By: ABP Live | Updated at : 21 Nov 2022 07:20 PM (IST)

        Pic Source: Finance Ministry

        Budget 2023-24: बिजनेस चैंबर्स ने सोमवार को केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (FM Nirmala Sitharaman) के साथ बजट प्री-बजट मीटिंग में हिस्सा लिया. उद्योगजगत ने सरकार से बजट में रोजगार बढ़ाने के उपायों पर जोर देने के लिए कहा है. साथ ही ज्यादा से ज्यादा लोगों को टैक्स नेट में लाने और खपत बढ़ाने के लिये जीएसटी (GST) और व्यक्तिगत आयकर स्लैब (Personal Income Tax Slab) को तर्कसंगत बनाने का सुझाव दिया है. बजट को लेकर सुझावों पर वित्त मंत्री सीतारमण के साथ बैठक में उद्योग जगत ने और भी कई सुझाव दिए हैं.

        CII अध्यक्ष ने क्या कहा
        सीआईआई (Confederation of Indian Industry-CII) के अध्यक्ष संजीव बजाज का कहना है कि, ‘‘वैश्विक परिदृश्य कुछ समय तक प्रतिकूल बने रहने की आशंका है. इसीलिए हमें वृद्धि के नये क्षेत्रों को तैयार कर तथा घरेलू मांग को बढ़ावा देने के लिये रोजगार सृजन को गति देकर अपनी घरेलू अर्थव्यवस्था को व्यापक बनाना चाहिए. उद्योग जगत ने ‘ऑनलाइन’ बैठक में वैश्विक अनिश्चितता के बीच देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिये निवेश आधारित वृद्धि रणनीति के साथ पूंजीगत व्यय पर भी जोर देने का सुझाव दिया है.

        नयी नीति से मेट्रो परियोजनाओं में निजी निवेश को बढ़ावा मिलेगा : शहरी विकास मंत्री

        नयी नीति से मेट्रो परियोजनाओं में निजी निवेश को बढ़ावा मिलेगा : शहरी विकास मंत्री

        केंद्रीय शहरी विकास मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने आज कहा कि नयी मेट्रो नीति से शहरों में लोक परिवहन के इस आधुनिक साधन के विस्तार के लिये निजी निवेश को बढ़ावा मिलेगा और देश भर की मेट्रो परियोजनाओं में एकरूपता आयेगी।

        तोमर ने इंदौर नगर निगम के एक कार्यक्रम में शामिल होने के दौरान संवाददाताओं से कहा, "नयी नीति से मेट्रो परियोजनाओं में निजी निवेश बढ़ेगा और इन रेलों का संचालन सुविधाजनक तथा प्रतिस्पर्धात्मक बनेगा। इसके साथ ही, देश भर की मेट्रो परियोजनाओं में एकरूपता आयेगी।" उन्होंने कहा, "नयी मेट्रो नीति में हमने राज्यों के अधिकार बढ़ाए हैं। हम चाहते हैं कि मेट्रो के कारण शहरों की सामाजिक और आर्थिक संरचना का भी विकास हो।" तोमर ने बताया कि नयी नीति के तहत मेट्रो का किराया तय करने के लिये एक अलग प्राधिकरण का गठन किया जायेगा।

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        सीआईआई की तरफ से यह भी कहा गया कि मौजूदा आर्थिक परिदृश्य में भारत के लिए विनिर्माण क्षेत्र में विस्तार का उपयुक्त समय है। ऐसे में सरकार को बजट में ऐसे नियमों का ऐलान करने चाहिए जिससे कारोबारी गतिविधियों में आसानी हो, तमाम मंत्रालयों के बीच ऐसा तालमेल बिठाया जा सके कि कारोबारियों को मंजूरियों में बिल्कुल भी समय न लगे और कारोबार के रास्ते की अड़चनें दूर की जा सकें। ऑनलाइन बैठक में उद्योग जगत ने वैश्विक अनिश्चितता के बीच देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए निवेश आधारित वृद्धि रणनीति के साथ पूंजीगत व्यय पर भी जोर देने का सुझाव दिया।

        रोजगार आधारित प्रोत्साहन योजना लाए सरकार
        उद्योग जगत की तरफ से ये भी कहा गया कि अगले वित्त वर्ष के बजट में रोजगार बढ़ाने के उपायों पर ध्यान देने के साथ जीएसटी को भी युक्तिसंगत बनाया जाना चाहिए। सीआईआई ने नौकरियों के नए अवसर बनाने के लिए रोजगार आधारित प्रोत्साहन योजना लाने का सुझाव दिया। उद्योग मंडल के मुताबिक सरकार शहरी रोजगार गारंटी योजना लाने पर विचार कर सकती है। इस बजट में इसकी शुरुआत पायलट आधार पर महानगरों से हो सकती है।

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